बरेली। प्रधानमंत्री मोदी ने गुरुवार को देश के दस राज्यों के 56 जिलों के डीएम के साथ वर्चुअल संवाद किया। प्रदेश के बरेली, मुरादाबाद, मेरठ, गाजियाबाद, लखनऊ और गौतमबुद्ध नगर के डीएम ने इसमें हिस्सा लिया। हालांकि प्रधानमंत्री ने प्रदेश में सिर्फ बरेली के डीएम से कोरोना की रोकथाम की रणनीति पर बात की। डीएम नितीश कुमार ने कोरोना को मात देने वाली अपनी रणनीति को प्रधानमंत्री के सामने पेश किया। कहा, शहर के साथ गांव में संक्रमण की रोकथाम पर अधिक फोकस किया गया। बरेली की सभी 1193 ग्राम पंचायतों में‘मेरा गांव मेरा अभियान’चलाया गया।
ऑक्सीमीटर और थर्मल स्क्रीनिंग के इस्तेमाल के तरीके बताए। अस्पतालों में इलाज के बेहतर इंतजाम किए। जीवन रक्षक ऑक्सीजन और दवाओं की आपूर्ति को बरकरार रखा। नतीजा, रिकवरी रेट 92 फीसदी से अधिक हो गया। पॉजिटिविटी रेट 2.5 पर पहुंचा गया। प्रधानमंत्री के वर्चुअल संवाद में छह मिनट का सबसे अधिक बरेली के डीएम को मिला। प्रधानमंत्री ने डीएम से कोरोना प्रबंधन की कार्ययोजना को भेजने को कहा ताकि दूसरे जिलों में लागू कराया जा सके। इस मौके पर सीडीओ चंद्रमोहन गर्ग और सीएमओ एसके गर्ग भी मौजूद रहे।
डीएम ने पीएम को बताया कि गांवों के साथ नगर निकायों में कोरोना संदिग्ध मरीजों की मॉनीटरिंग करने के लिए 372 निगरानी समितियां बनाई गईं हैं। डीएम ने बताया कि गांव में कोरोना के खिलाफ लड़ाई में सामुदायिक भागीदारी तय की गई। ग्राम प्रधान, सचिव, लेखपाल, एएनएम, आशा, आंगनबाड़ी वर्कर, रोजगार सेवक, सफाई कर्मचारी, सफाई कर्मचारी की भूमिका निर्धारित की गई। डीएम ने पीएम मोदी को बताया कि शहर और गांवों में कोरोना संदिग्ध मरीजों की सैंपलिंग बढाई गई। एंटीजन और आरटीपीसीआर दोनों जांच की गईं जो कोरोना संक्रमितों की पहचान कराने में मददगार साबित हुआ। गांव में 30 मोबाइल मेडिकल टीमें जांच कर रहीं हैं।