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फांसी लगने से हुई थी महंत नरेंद्र गिरि की मौत, पोस्टमार्टम रिपोर्ट में खुलासा

प्रयागराज: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि की पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आ गई है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में महंत नरेंद्र गिरि की मौत की वजह फांसी लगना बताई गई है। गले के चारों ओर एक निशान पाया गया। कोई एंटी मॉर्टम इंजरी नहीं है। ‘फांसी के कारण दम घुटने’ को प्रथम दृष्टया मौत का कारण बताया गया है। विसरा सुरक्षित रख लिया गया है। बता दें, महंत नरेंद्र गिरि के पोस्टमार्टम में पांच डॉक्टरों का पैनल बनाया गया है। इसमें मुख्य चिकित्साधिकारी की तरफ से तीन डॉक्टरों के अलावा दो डॉक्टर मोतीलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज के हैं। एक फोरेंसिक एक्सपर्ट को भी शामिल किया गया है।

अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि 20 सितंबर (सोमवार) को बाघंबरी गद्दी मठ में अपने कमरे के अंदर मृत पाए गए थे। पुलिस ने बताया था कि महंत नरेंद्र गिरि का शव पंखे से रस्सी से लटकता पाया गया। पुलिस ने महंत नरेंद्र गिरि के कमरे से आठ पन्नों का एक सुसाइड नोट बरामद किया। इस नोट में नरेंद्र गिरि ने अपने शिष्य आनंद गिरि से नाराजगी की बात लिखी है। पुलिस के मुताबिक, नरेंद्र गिरि ने सुसाइड नोट में आत्महत्या की बात लिखी है और वसीयतनामा भी लिखा है।

महंत नरेंद्र गिरि के सुसाइड नोट में आनंद गिरि के अलावा आद्या तिवारी और संदीप तिवारी का भी जिक्र है। आद्या तिवारी लेटे हनुमान जी मंदिर के वरिष्ठ पुजारी हैं, जबकि संदीप तिवारी उनके बेटे हैं। एसआईटी ने आनंद गिरि और आद्या तिवारी से पूछताछ की है। आनंद गिरि ने किसी वीडियो बनाने की बात से किया इनकार किया है। एसआईटी अभी भी दोनों से पूछताछ कर रही है। शाम चार बजे कोर्ट में दोनों आरोपियों को पेश किया जाएगा। बता दें, महंत नरेंद्र गिरि की अंतिम यात्रा मठ बाघंबरी गद्दी से निकलकर संगम के लिए रवाना हो गई है। संगम में त्रिवेणी के जल से नरेंद्र गिरि का विधि-विधान से स्नान करवाने के बाद बड़े हनुमान मंदिर लाया जाएगा। फिर बाघंबरी मठ में महंत नरेंद्र गिरि को संत-परंपरा के मुताबिक भू-समाधि दी जाएगी।

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